नई दिल्ली। लद्दाख औऱ सिक्किम की सीमाओं पर भारत और चीन की सेनाओं के बीच चल रही मौजूदा तनातनी को लेकर भारत ने चीन से साफ शब्दों में कहा है कि वह अपने इलाके से पीछे नहीं हटेगा और वह अपनी प्रादेशिक अखंडता और सम्प्रभुता की रक्षा के लिये प्रतिबद्ध है।
चीन द्वारा लगाए गए आरोपों के जवाब में यहां भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने साफ कहा कि पश्चिमी सेक्टर या सिक्किम सेक्टर में भारतीय सेना ने वास्तविक नियंत्रण रेखा का अतिक्रमण नहीं किया है। भारत ने कहा है कि भारतीय सैनिक भारत चीन वास्तविक नियंत्रण रेखा के मिलन बिंदुओं से पूरी तरह अवगत है और वे इसका गम्भीरता से पालन करते हैं।
गौरतलब है कि लद्दाख की गलवान नदी के इलाके में वास्तविक नियंत्रण रेखा के अपनी ओर जब भारतीय. सेना ने सडक निर्माण शुरु किया तो चीन ने इसे यह कह कर रुकवा दिया है कि भारत ऐसा नहीं कर सकता। भारत ने कहा है कि चीन ने भी अपने इलाके में इसी तरह की सडक बनाई है और भारत को भी पूरा हक है कि अपने इलाके में सडक का निर्माण करे। प्रवक्ता ने कहा कि चीनी सेना ने भारतीय सेना की गतिविधि में अडचन डाली है। भारतीय सेना अपनी नियमित गश्ती ड्यूटी पर थी।
वास्तविक नियंत्रण रेखा पर भिन्न अवधारणा होने की वजह से यदि कोई विवाद होता है तो भारतीय पक्ष इसके हल के लिये हमेशा बातचीत को तैयार है। दोनों पक्षों ने ऐसे विवादों के हल के लिये संस्थागत व्यवस्था की है। प्रवक्ता ने कहा कि पिछले साल अप्रैल में चैन्ने शिखर बैठक के दौरान जो आम सहमति बनी थी उसके तहत भारतीय पक्ष सीमा पर शांति व स्थिरता बनाए रखने को प्रतिबद्ध है। प्रवक्ता ने कहा कि भारत और चीन के रिश्तों को गहरा करने के लिये यह जरुरी शर्त है।
