नई दिल्ली। महिला पत्रकारो के यौन शोषण के आरोपों में घिरे विदेश राज्य मंत्री एम जे अकबर ने भारी दबाव के बीच अपने पद से इस्तीफा देने का ऐलान बुधवार को किया।
करीब 20 महिला पत्रकारों द्वारा यौन दुराचार के आरोपों के बाद एम जे अकबर ने अदालत में मानहानि का मुकदमा एक महिला पत्रकार के खिलाफ दायर किया था। इसके बाद महिला पत्रकारों ने अदालत में इसे चुनौती देने की बात कही।
देश के अग्रणी पत्रकार रहे एम जे अकबर पर उन महिला पत्रकारो ने आरोप लगाया था जो उनके द्वारा सम्पादित दैनिक एशियन एज में सम्पादकीय विभाग में सेवारत थीं। इन आरोपों के बाद एम जे अकबर पर इस्तीफा देने की उग्र मांग की जाने लगी। इन आरोपों को पूरी तरह गलत बताते हुए एम जे अकबर ने एक बयान कुछ दिनों पहले जारी कर अपने पद पर बने रहने का संकल्प दिखाया था. लेकिन बुधवार को उनके खिलाफ मामला गर्म होते देख एम जे अकबर ने एक बयान जारी कर कहा कि चूंकि उन्होंने अपने उपर लगे आरोपों के खिलाफ अदालत से न्याय की गुहार की है इसलिये वह अपना पद छोड़ रहे हैं। एम जे अकबर ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और विदेश मंत्री सुषमा स्वराज का आभार जाहिर किया कि उन्हें देश की सेवा करने का मौका मिला।
